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  • 5/17/2025
कौन था श्री कृष्ण का वो परम भक्त जिसके आगे अर्जुन भी हार गया #dharmicstories​ #motivation​

डिस्क्रिप्शन:
अर्जुन ने अश्वमेध यज्ञ के दौरान घोड़ा छोड़ा, जिसे राजा मोरध्वज ने रोक लिया। लेकिन जब अर्जुन ने मोरध्वज से युद्ध किया, तो वह हार गए। यह जानकर अर्जुन हैरान हो गए और श्रीकृष्ण से इसका कारण पूछा। श्रीकृष्ण ने कहा कि मोरध्वज और उनके पिता मेरे परम भक्त हैं, और मेरे भक्त कभी हार नहीं सकते।
यह कथा हमें भक्ति, समर्पण और भगवान के प्रति अटूट विश्वास का अद्भुत संदेश देती है।
इस कहानी को अंत तक जरूर देखें और जानें कि भक्ति की शक्ति कितनी अद्वितीय होती है।


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Transcript
00:00कौन था वह महान बलशाली बालक जिसने अरजुन को युद्ध में हराया था?
00:05महाभारत युद्ध के बाद पांडवो द्वारा अश्वमेद यग्य का आयोजन किया गया था.
00:10इस यग्य में एक विशेश घोडे को स्वतंत्र रूप से घूमने दिया जाता था.
00:15जिस राज्य से ये घोड़ा गुजरता, वहाँ के राजा को उसे रोकना या पांडवो की अधीनता स्विकार करनी होती.
00:21वहाँ घोड़ा राजा मुर्तवज के राज्य से गुजरा और उनके पुतर धीरतवज ने उसे रोक दिया.
00:26श्री कुष्ण ने अर्जुन को बालग धीरतवज से युद्ध करने से मना किया, लेकिन अर्जुन नहीं माना.
00:32उसने राजा मुर्तवज के पुत्र धीरतवज से युद्ध किया. बालग धीरतवज ने युद्ध में अर्जुन को हरा दिया और घायल कर दिया.
00:39इसके बाद वह बालक घोड़ा लेकर अपने पिता के पास चला गया
00:43फिर श्री कृष्ण ने अर्जुन को बताया कि मुर्दवज और उनके पुत्र ने भक्ती और पराक्रम के कारण अर्जुन को हराया है
00:50क्योंकि वे नारायन के परमभक्त है
00:52अर्जुन को ये यकीन नहीं हुआ कि उससे बड़ा कोई और श्री कृष्ण का भक्त हो सकता है

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