03:59अरभोगवा में जोगवा हम ना सुहाई जोगवार माल जोगिया
04:07जहर जवनिया पुझाए हो
04:10रानी गिरस्तिक सुक बेकार बाई तो हरे लिए काग्या हो कहका
04:17इस्त्री का काम पड़ के सेवा बजावे
04:22कर वही काम जा में पापी सुखा पावे
04:26जोगवार माल जोगिया
04:30इस्त्री के काम पड़ को बात मैंने को पुझाए हो
04:33कहने तो हमरे लिए का या ज्या हो
04:35कहां देदा भीक बचावा बोलाए हो
04:38जोगवार माल जोगिया
04:41एक बार पुत्र के करके भीक्छा देदा यही आ ग्या हो
04:45बोली रानी ठीक हसाई या तो हरे कहना कर बेगा
04:50अरा जोगिया
04:52एक बार पुत्र के करके भीक्छा देदा यही आ ग्या हो
04:57बोली रानी ठीक हसाई या तो हरे कहना कर बेगा
05:03अरा जो दिल चाहे माना भीक्छा
05:06सत कख़ परभर हमके बजर कर जवाबना लिवदावा
05:13हाला गला या गिनिया जवनिया में हमेरे बुझा ले वदाव मुझी कई से कितनी अख्या से यस्वा गिराव लेवदाव
05:33कहनत के रोगा के टाइम ना है अपरए
05:39एक काम करा, बोलेगो पिचंदरानी, आग्या दो हर सभी चारी, अरे खुसी खुसी अब अबिदा करो मैं बेका तू महतारी
05:51खालिये भीकशा दिदा, और कुछ कहा मत, रोवा मत, आरे रो लोला रानी नातामाद, छोड़ा ओला हमारे पीयावा हो, कोने कर्य कुबरिया
06:09अरे आगया सहर सज़ाई वहां मरे सजनवा लेकन यहां जाउने दीन होई मरमर नवा
06:31अरे दीहां डरा साना माथ भोला उला हमेरे पियावा हो कोने घर्कु बरियाँ
06:41हम दे आगया दे भिच्छा दे लेकिन एक सर्तागी जिदे हमार मौत होई तो दीन ही आवे के पड़ी तो
06:57यह भी यह होत कहो कि रानी से या ग्याले कल आए माता के द्वार देखा पुत्र को जोगी बिसमे माता कहे पुपार
07:12रानी से भिच्छा लेकर के अपने मतारी के द्रवाजे लेने माता मैं आवरती जब देख लीन है जोगी रूप में अपने बेटवा के कहर नहीं का अरे गोदिया भाईल गोदिया भाईल उजियार हो दुलारुआ
07:33गोदिया भाईल उजियार हो दुलारुआ
07:40कहलेन माता मैं आवती की बेटवा पीचन अरे आज हमार गोदि धन्यांगे तोरे जन्धरमी पुत जन्मलन
07:59मतमन वतिकत भिहस गजिये रवा
08:04अरभर बखापन परवात वारव दुलर बगोदिया भईलं जी आ
08:13भिक्ष़देप हमारे दरवाल जो भिक्षा लेवे लेकें पर भिक्षा अध्यो
08:19कि माता बोली तीन सिख्छा, भीक्छा में ले जाई बाद, अरे यही तिनों सिख्छा बीच जो गवाल मैं बाद, करी सब तोहरे दुलार हो दुलार हो दुलार हो बदिया भईल मुझिया
08:49भीक्छा देव, लेकिन तीन सिख्छा, भीक्छा में देव, चाउर दाल पिसार रुपया पैसा ना, भीक्छा का देव, तीन सिख्छा भीक्छा में देव, लेकिन कहना कभी कहता।
09:19कभिना ना कोी सकता है माई के पिना हो कोई करिना यदरा रहा है डुनिया में
09:29लोगावाहा जरा हर्य माई के जिया रहा हो गाई समहुरां स्टावा कजिया रहा कसाई के दुधा कि जॉने को फीचन्द के हदेए के जनमा आप ने बुड़ाई खदर करिद defendant
09:44एप लाल नवा जोगी होई गया पुढ़िया मतारीक होना तोभी स्वाइब फिर भीकिया नवा सिखावेला कर पुढ़िया
09:55पुढ़िया के तीन सिख्छा अब पहली सिख्छा पहली सिख्छा किना के अंदर बेटा जोगर मैबा
10:12अरे जिदा सके है कोई तुहके बिजाई सदा कहाईबा हमके अपनों सहुरवा सिखाले वदा
10:22अरे न तवा कजा तवा चला उला नहीं बचावा बताले वदा
10:39थोड़ी गुना वाक गाठारी थमाल वदा
10:44पहली सिख्षा किला के अंदर बेटा जोग रमईवा
10:48गुपी चन कहने कि माई जब जोगी होगे लिए तो किला में कहीं सरफ
10:52कहने कि बेटा इता इता पत्थर के किला ना
10:55कहें तब कौन किला वो किला का भेद बता था हमके तो किला का भेद बताओ थें मतलब बताओ थें अपने भिक्षा के लेकिन
11:05तर्ज भाबडी पुरान तर्जवार तर्ज भाब कि बाबू दरोगाजी अले कमने कसुरा मा बनला प्यावा मोर बाबू दरोगाजी
11:23तर्ज भाब लेकिन काना का भाबा लेकिन अंतरा हो
11:47कि ना प्यावा मुर यातर पातर ना प्यावा मुर छोड अले मसला का मोतल मुर मतला गैला सोर की अपसूल भूबू दरोगाजी
12:04अले कमने कसुरा मा बनला प्यावा मोर बाबू दरोगाजी
12:23तर्ज भी हो लेकिन गाना का भाबा कि अरे मुर लला ना हो
12:30माता बोली भेदवा के अलगाए अरे मुर लला ना हो
12:54अरे जोगी खातिर ब्रह्म चर्ज हो किला बड़ा बलवाना
13:02रोग और प्याधाना जई है यही किला दरोगाजी
13:08अरे मुर लला ना हो
13:11अरे ब्रह्म चर्ज का सकती भारी बाए
13:16अरे मुर लला ना हो द्रह्म चर्ज का सकती भारी बाए
13:26अरे मुर लला ना हो
13:31दूसर सिक्छा सब दिन बेटा खई हा मोहन भोग इसका मतलब लगे भूख तब तू खाना पि रूग अरे मुर लला ना हो
13:47अरे भूखा मेरा हिला मोहन भोग इजना अरे मुर लला ना हो
14:07तीसर सिक्छा सदा मसहरी पर सोना है लाल इसका मतलब लगे नीद तब तू सोना बेहाल
14:17अरे मुर लला ना हो अरे नीदों में धेला मसहरी आ जाना है
14:38गोपी चंद जट गिरे जमी पर धन्य हमारी माता की गुर्वनेज के चले द्वार से तो जनम का नाता तनी जोगिया के जोगवार माले वजा
14:53चाया कर ला मला चंद लिटा के उपला छाहन वदा तनी तिरा मान वर्या लगा ले वजा