व्यापारियों की समस्या और उत्पीड़न को देखते हुए नए व्यापार मंडल का हुआ गठन
  • 4 years ago
जनपद में व्यापारियों की समस्याओं और उनके शोषण को देखते हुए उत्तर प्रदेश व्यापार मंडल (रजिस्टर्ड) के बैनर तले एक नए व्यापारी संगठन की जिला कार्यकारिणी का गठन किया गया है। जिसमें सर्वसम्मति से मंडल अध्यक्ष जिला अध्यक्ष जिला महामंत्री जिला संयोजक के साथ-साथ अन्य पदों पर भी सर्वसम्मति से पदाधिकारियों को इस उद्देश्य नियुक्त किया गया है कि वह अपने व्यापारी भाइयों की समस्या को ध्यान में रखते हुए काम करेंगे और उन्हें हो रहे शोषण से भी मुक्ति दिलाएंगे। उत्तर प्रदेश व्यापार मंडल के प्रदेश अध्यक्ष संजय पटवारी ने ललितपुर पहुंचकर होटल ललित पैलेस में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया । जिसमें उन्होंने अवगत कराया कि जनपद ललितपुर में उन्होंने अपनी सक्रियता को निभाते हुए यहां पर व्यापार मंडल की कार्यकारिणी को गठित किया है। जिसमें अजय जैन साइकिल को मंडल अध्यक्ष के पद पर नियुक्त किया गया है तो वहीं जिला अध्यक्ष के पद पर युवा व्यापारी नेता नरेन्द्र कड़की को मनोनयन किया। इसके साथ ही अन्य पदों की भी घोषणा की गई जिसमें जिला महामंत्री के पद पर समाज सेवी अज्जू बाबा को व जिला संयोजक सुनील चौबे पत्रकार, जिला उपाध्यक्ष संजय डयोड़ियां,जिला महामंत्री अजय अज्जू बाबा,मण्डल अध्यक्ष अजय जैन साइकिल एवं नगराध्यक्ष संजय रसिया, महामंत्री गिरीश सोनू पाठक कोषाध्यक्ष स्वदेश अग्रवाल, युवा अध्यक्ष अंकुर जैन सानू बाबा, कोषाध्यक्ष मुकेश सराफ,आदि व्यापारियों को जिम्मेदारी देकर महत्वपूर्ण पदों से मनोनयन किया। इस मौके पर प्रदेश अध्यक्ष संजय पटवारी ने कहा कि उन्होंने युवा कार्यकारिणी का गठन इस उद्देश्य से किया है कि युवाओं में काम करने का जोश और जुनून होता है इसीलिए सर्वसम्मति से गठित की गई कार्य कारिणी पहले की तरह ही व्यापारियों के हितों में काम करती रहेगी। उन्होंने कहा कि उनका सिर्फ एक ही उद्देश्य है कि व्यापारी इस देश की रीड की हड्डी हैं इसलिए व्यापारियों का किसी भी तरह से उत्पीड़न ना होने पाए जिसके लिए उन्हें अगर लंबी लड़ाई लड़नी पड़ी तो उसके लिए भी वह तैयार हैं। इसके साथ ही नवनिर्वाचित जिला अध्यक्ष नरेंद्र कडंकी ने पूर्ववर्ती व्यापारी कार्यकारिणी पर मनमानी करने के आरोप लगाए । उन्होंने कहा कि पूर्व में जिस व्यापार संगठन से जुड़े हुए थे वह लगातार मनमानी कर रही थी एवं उसमें उनकी बात नहीं सुनी जा रही थी । इसीलिए उन्होंने इस व्यापार मंडल को उचित समझा और वह इनकी नीतियों से भी प्रभावित हुए इसीलिए इसकी सदस्यता ग्रहण की।
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