00:03ग्रूप कैप्टेन शुभान्शु शुक्ला जो फाइटर पाइलिट है भार्चेवाई सेना के
00:08सूथर्टी एमक्याई उड़ाते हैं
00:10अब वो ये स्पेस्शिप उड़ाते हुए उन्होंने डॉक कर लिया है
00:14वो इस मिशिन के पाइलिट है अलग-अलग मिशिन को अपने आप यहां अंजाम भी देंगे वो
00:20और आप देख सकते हैं किस तरह से उनका पूरा परिवार इसे देख रहा है
00:26क्योंकि ये बहुती समवेदनशील मामला होता है
00:30एक-एक मिलिमीटर ध्यान से देखा जाता है
00:33अगर करेक्शन की आवशक्ता होती है तब सिस्टम को करेक्ट किया जाता है
00:37और यहां आप देख रहे हैं कि ये केवल ग्रूप क्याप्टिन शुबांशू शुक्रा जो मिशिन पाइलिट है
00:44उन्होंने सफलता पूरवक इसे अंजाम दिया
00:47और अगले 14 दिन तक रहेंगे वो यहां पर इस मिशिन में
00:50बिल्कुलों 14 दिन तक लगातार करीबन 60 रिसर्च की जाएंगी
00:5360 में से करीबन 7 ऐसी होंगी जो शुबांशू शुक्रा करेंगे
00:56जिसमें ना सिर्व आप देखें स्पेस में कैसे मसल्स होती है
00:59इसको लेकर और कई और महत्रपूर्ण चीजे हैं जो उनके रिसर्च का पाठ होगी
01:03लेकिन सबसे इंपॉर्टन बात ये दो तस्वीरे आप देखें
01:06नहीं पहला कि जब डॉक किया गया वो तस्वीरे मापको सीधी दिखा रहे हैं
01:09दूसरी उनके परिवार की तस्वीरे जो आप देखें कितनी उत्सा है पूरे देश बरके अंदर
01:14उनके परिवार में भी कैसे जब इसकी लांडिंग हुई जब ये डॉक किया गया
01:18उन पलों को गैद करना चाता था हर भारती अपनी आँखों में ये देखना चाता था कि भारत का ये तियास रस्ते वे कैसे
01:24एक बार फिर से 40 साल बाद आप मानिये कि कितना खुशी का लम्हा ये हमारे लिए है कि जब ये स्पेस आप कह सकते हैं कि जब डॉक किया गया
01:33वो तस्वीरे सब ने देखी दुनिया भर की नजरे इस समय उन तस्वीरों पर है कौरब
01:37प्रित्वी से 418 किलोमीटर उपर इस समय ये सफल डॉकिंग और ये बहुत ही समवेदनशील सेंसिटिव ये पूरी प्रक्रिया है
01:51क्योंकि इंटरनाशनल स्पेस स्टेशन वो भी प्रेशराइज है और जो स्पेस शिप है वो भी प्रेशराइज दोनों को एक साथ किया जाता है
02:02ताकि अब उस funnel में से space station से space ship से space station में ये चारो यात्री अंत्रिक्ष यात्री बहुत सकते हैं
02:13और आपको सीधे लिये चलते हैं लखनाव आशीश में हमारे सहयोगी हमारे साथ जुड़ रहे हैं संदीपुनितन हमारे सहयोगी हमारे साथ है इस समय
02:20जबरदस लम्हा ये डॉकिंग सफलता पूरवक हो गई आशीश
02:26बिल्कुन देखें ये जो डॉकिंग हुई है ये इतिहास का वो लम्हा है जो साइद आज इनको जो सुबांसु के माबाब बैटे हुए है वो देख रहे हैं तस्वीरों में आप देखिए
02:39कि इस तरीके से वो पूरी तरीके से इस समय अंदर से खुशी एक नजर आ रही है क्योंकि ये सफल जो डॉकिंग है वो उनके लिए ही गहत महतपूड हो जाती है और ये यहाँ पर चाहे वो प्रिंसिपल हो उनके स्कूल के सुबांशू के चाहे उनके फादर हो बहन हो वो
03:09इससे कि कहीं ना कहीं ये पूरी तरीके से एक ऐसा ऐसा लामा जो सभी कैद करना चाहते हैं
03:14और ये पल जिसका इंतजार चाहिए शुमाशू बहुत पहले से उनके परिवार वाले कर रहे थे
03:19उनके जो रिलेटिव हैं वो कर रहे थे उनके जो टीचर्व्स हैं
03:24जो कि आध धरृती से आस्मान तक का ये सफर कहीं ना कहीं
03:28ये सदियों में कहीं एक बार आता है और यहीं
03:31वो इतिहास है जो रच के दिखाया है और ये लमाँ
03:34चुकि इनके लिए बहुत महत्पूर्ण इसलिए भी हो जाता है कि लखनओ की इस धर्ती से निकल कर कोई आकाश या नियांतरिक्स में जब पहुचता है वो भी उनका शुभान शुक्ला तो ये एक बहुत महत्पूर्ण लमा है जिसका इंतजार है सबी कर रहे हैं हम लोग स्
04:04का बेटा जब उस अंतरिक्स यानि उस उस धर्ती पर जो अंतरिक्स में वहाँ पर पहुचेगा तो क्या फिलिए रहे हैं हमारे साथ लगातार तस्वीरे दिखाते रहे हैं हमारे साथ संदीप उनितन भी जुड़े हैं संदीप डॉकिंग की बात की जा रही है गौरफ ने
04:34जैसे कि आप सोच सकते जो वेलोसिटी में ये दो जो स्पेस्क्राफ्ट है वो ट्राइवल कर रहे हैं वो एक बुलेट के स्पीड पर ट्राइवल कर रहे हैं दोनों एक स्पेस्क्राफ्ट और ये जो हमारे जो एस्टोनोट है दूसरे एक स्पेस्क्राफ्ट में हैं और उ
05:04development है, जो कि बहुत कम countries के पास ये शमता है, हो सकता है, आगे कुछ साल बाद हमें एक Indian astronaut को एक Indian spacecraft में और एक Indian Space Station में ये करते हुए हमें देखने को मिलेगा.
05:19क्योंकि सपना तो यही है भारत का भी, लेकिन ये जो docking की प्रक्रिया है, ये absolute science जिससे कहा जाता है, आप इस अंदाज में देखिए, कि micro thrusters होते हैं, कि speed कब बढ़ानी है, कब कम करनी है, वैसे तो सब automatic होता है, लेकिन वो solar thrusters, draco thrusters उसमें लगे रहते हैं, speed को maneuver करने के लि�
05:49के बाद भी computers check करते हैं, पहले अंतरिक्ष यान का computer और उसके बाद space station का computer, कि कहीं कोई leak तो नहीं है, pressurized cabin होना चाहिए, कहीं कोई debris, कोई malba तो नहीं है, कुछ तूट के तो अलग नहीं हुआ है, जब वो पूरा check कर लेंगे, सभी sensor, सभी camera, सभी radar, जब वो पूरी checking हो जा
06:19सके, उससे power मिल सकेगी space station से space ship को, उसके से data communications हो सकेगा, और उसके बाद transfer की प्रक्रिया शरू होगी, क्योंकि एक बार अगर cabin pressurized है, संदीप, उसके बाद जो चारो astronauts है, वो space ship से space station में आसानी से जा सकेगे, संदीप, बिल्कुल कौरफ, और ये एक बहुत ही एक challenging maneuver है, जो
06:49ये precision है, इस से पूरी operation को coordinate करना पड़ता है, क्योंकि basically जो है, ये दोनों objects जो है, बहुत ही high speed पे चलते हैं, orbit में, तो उनको बिल्कुल एक coordinated maneuver, जैसे वो thrusters के जरिये, उनको speed decelerate करके, एकदम बिल्कुल एक decelerate करके, एकदम पास लाके, फिर एक वो जो miniature docking जो है, एक बह�
07:19के पास ये शमता है, करीब दो या तीन राश्टों के पास ही एक ability है, ये करने की, जो हम अब देखने वाले हैं, बिल्कुल उश्वा, एक और बात आप से संदीब जाना चाहा रहा था, क्योंकि एक fighter pilot के लिए, ग्रूप captain सुभाज्चु शुक्रा ग्रूप fighter pilot, लेकि एक space
07:49होते हैं, सुमित ये generally fighter pilots होते हैं, fighter pilots होते हैं, या फिर experimental test pilots होते हैं, क्योंकि जो fighter pilots हैं, जो test pilots हैं, उनको already इतनी, उनकी physical fitness levels बहुत जबरदस्त हैं, उनको इसी वज़े से उनको test किया जाता है, उनको select किया जाता है, और सारे जो space के
08:13pulls, pressures, सब वो withstand कर सकते हैं, आपको याद होगा कि जैसे कि wing commander, squad leader Rakesh Sharma जो है, 1984 में, वो भी air force से थे, और उनके पीछे भी काफी सारे दो-तीन और हमारे air force के pilots सेलेक्ट किये गए थे, stand by पे रखा गया था, squad leader Ravish Malothra भी थे उनके साथ, तो ये जो सारी जो हमारी astronaut core है, वो सब
08:43कि सबसे अगर हम देखें, तो इंडिया की जो सबसे capable flight ये handle करने वाले जो है, वो हमारे test pilots होते हैं, वो हमारे fighter pilots होते हैं, और ज्यादा तर ये Indian Air Force से हैं, और Indian Navy से भी कुछ हो सकते हैं