देखें- चकल्लस चौबे: राजनीति में भी होनी चाहिए रिटायरमेंट की उम्र

  • 5 years ago
माध्यम बढ़ने के साथ, खबरें ही किसी भूलभुलैया जैसी हो गई हैं. जिस तरह खबरों की बमबारी हो रही है, बहुत से लोग, उससे कुछ अलग देखना-सुनना चाहते हैं. लंबी-चौड़ी बहस की जगह वो लब्बो-लुआब समझना पसंद करते हैं. उस पर समझाने और बताने वाला अंग्रेजी समाचार जगत का कोई जाना पहचाना चेहरा हो तो फिर कहना ही क्या. तो आपके लिए खबरों को अपने तरीके से पेश कर हे हैं सीएनएन न्यूज-18 के जाने पहचाने संपादक भूपेंद्र चौबे. चौबे जी आपकी अपनी भोजपुरी भाषा में पूरे 'चकल्लस' के साथ सबकी खबर लेते हैं, इस बार वे कह रहे हैं कि अब भले ही आडवाणी का टिकट काट दिया गया हो, लेकिन उन्होंने पार्टी को 2 सांसदों वाली पार्टी से सत्ता तक पहुंचाने में ऐतिहासिक योगदान किया है. वे पार्टी के संस्थापकों में हैं. फिर भी घरों में भी तो एक उम्र हो जाने के बाद लोग पूजा पाठ में लग जाते हैं, धर्म कर्म करते हैं. हमेशा कोई काम ही तो नहीं करता रहता. हालांकि भूपेंद्र चौबे की चिंता ये भी है कि जोशी जी को टिकट नहीं मिला तो क्या ब्राह्मण इससे नाराज होगा. हालांकि उनका सुझाव है कि राजनीति में भी रिटायरमेंट की उम्र होनी चाहिए. वे ये भी कहते हैं मंदिर के समर्थक भले ही अयोध्या में मंदिर नहीं बना सके लेकिन वे अपने घरों में तो पूजा पाठ कर ही सकते हैं, तो देखिए अंग्रेजी के संपादक का भोजपुरी तंज चकल्लस चौबे

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