• 7 years ago
The Ekadashi of the Shukla Paksha of the senior month is known by the name of Nirjala Ekadashi also known as Bhimseni Ekadashi. Let's watch Acharya Rajendra Mishra ji explaining, when and why Nirajla Ekadashi started to be called by Bhimseni Ekadashi?

ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी निर्जला एकादशी या भीमसेनी एकादशी के नाम से विख्यात है। वैसे तो भारतीय जनमानस में आध्यात्मिक स्तर पर एकादशी व्रत सर्वाधिक लोकप्रिय व्रत है, परंतु कुछ एकादशियां अतिविशिष्ट स्थान रखती हैं और उन्होंने आस्था पर्व का स्वरूप ग्रहण कर लिया है। कुछ ग्रंथों में माघ शुक्ल एकादशी व कार्तिक शुक्ल एकादशी को भी भीमसेनी एकादशी का नाम दिया गया है, परंतु ज्यादातर विद्वान निर्जला एकादशी को ही भीमसेनी एकादशी के रूप में स्वीकार करते हैं। पद्मपुराण में निर्जला एकादशी व्रत द्वारा मनोरथ सिद्ध होने की बात कही गई है। आइये जाने आचार्य राजेंद्र मिश्रा से की निर्जला एकादशी को भीमसेनी एकादशी के नाम से कब और क्यों पुकारा जाने लगा |

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